UP News: वन टाइम सेटलमेंट (ओटीएस) योजना के पहले चरण के बाद दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड (डीवीवीएनएल) के अफसरों ने बिजली चोरी के खिलाफ अभियान चलाया। 16 दिन में 900 से ज्यादा मामले दर्ज किए गए। तहसीलवार अभियान चलाकर कार्रवाई की गई।
ओटीएस की शुरुआत 15 दिसंबर को हुई थी। इसका पहला चरण 15 से 31 दिसंबर तक चला। इस दौरान सिर्फ 30 हजार बकाएदारों ने पंजीकरण कराया। अच्छे नतीजे न आते देख बकाएदारों के कनेक्शन काट दिए गए। जिनके कनेक्शन कटे थे, उन पर विशेष निगरानी रखी गई। जिन लोगों ने खुद ही दोबारा कनेक्शन जोड़ लिए, उनके खिलाफ बिजली चोरी के मामले दर्ज किए गए हैं।
ऐसे मामलों की संख्या करीब 700 है। 200 मामले ऐसे हैं, जिनमें लोग सामान्य तौर पर बिजली चोरी करते पकड़े गए। 16 दिन में इतनी बड़ी संख्या में मामले दर्ज होने के पीछे वजह बकाया वसूली है। दबाव के चलते बकाएदार बकाया जमा कर सकते हैं। इसके बावजूद अच्छे नतीजे नहीं आ रहे हैं।
छापेमारी जारी रहेगी।
डीवीवीएनएल के मुख्य अभियंता कपिल सिंधवानी ने बताया कि बकाएदार बकाया जमा नहीं कर रहे हैं। ऐसे उपभोक्ताओं के कनेक्शन काटे जा रहे हैं। यदि कनेक्शन दोबारा जुड़ते हैं तो उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया जा रहा है। ओटीएस का दूसरा चरण एक सप्ताह और बढ़ा दिया गया है।
ओटीएस का दूसरा चरण एक से 15 जनवरी तक था। जिसे एक सप्ताह और बढ़ा दिया गया है। इसका लाभ 22 जनवरी तक उठाया जा सकेगा। मुख्य अभियंता कपिल सिंधवानी ने बताया कि शासन स्तर से दूसरे चरण को एक सप्ताह और बढ़ा दिया गया है। जिसमें सरचार्ज में 60 प्रतिशत छूट का प्रावधान है।
इसका पहला चरण 15 से 31 दिसंबर तक चला। इस दौरान सिर्फ 30 हजार बकाएदारों ने पंजीकरण कराया। अच्छे नतीजे न आते देख बकाएदारों के कनेक्शन काट दिए गए। जिनके कनेक्शन कटे थे, उन पर विशेष निगरानी रखी गई। जिन लोगों ने खुद ही दोबारा कनेक्शन जोड़ लिए, उनके खिलाफ बिजली चोरी के मामले दर्ज किए गए हैं।